शंकराचार्य भारती कृष्ण तीर्थजी महाराज | वैदिक गणित के जनक
प्रकाशित: 13 जुलाई 2025 | लेखक: संजय बाजपेयी

परिचय
भारती कृष्ण तीर्थजी महाराज भारत के
प्रसिद्ध वैदिक गणितज्ञ और शंकराचार्य थे। उन्होंने वैदिक गणित की 16 मूलभूत गणनात्मक सूत्रों की खोज की थी जो आज भी प्रतियोगी परीक्षाओं और शिक्षण में अत्यंत उपयोगी हैं।जीवन यात्रा
उनका जन्म 14 मार्च 1884 को पुरी, उड़ीसा में हुआ था। वे बचपन से ही विलक्षण प्रतिभा के धनी थे और अनेक विषयों में पारंगत थे। सन्यासी बनने से पहले उन्होंने गणित, विज्ञान, इतिहास और संस्कृत का गहरा अध्ययन किया।
वैदिक गणित की खोज
1911 से 1918 तक, उन्होंने गहन साधना व ध्यान में लीन होकर वैदिक सूत्रों की खोज की। उनका मानना था कि यह ज्ञान अथर्ववेद से प्रेरित है। ये सूत्र गणितीय गणनाओं को मानसिक रूप से तेज़ी से हल करने में मदद करते हैं।
पुस्तक और योगदान
- 📘 Vedic Mathematics पुस्तक (1965 में प्रकाशित)
- 16 मुख्य सूत्र और 13 उप-सूत्र
- गणित शिक्षा में वैदिक पद्धति का पुनर्जागरण
निष्कर्ष
भारती कृष्ण तीर्थजी महाराज की वैदिक गणित प्रणाली आज भी शिक्षकों, छात्रों और गणित प्रेमियों के लिए मार्गदर्शक है। उनकी जीवनगाथा प्रेरणास्पद है और भारतीय ज्ञान परंपरा का गौरवशाली उदाहरण है।